13 न ही अपने शरीर* को बुराई के हथियार बनने के लिए पाप के हवाले करते रहो। इसके बजाय मरे हुओं में से ज़िंदा किए गए लोगों के नाते खुद को परमेश्वर को सौंप दो, साथ ही अपने शरीर* को नेकी के हथियार बनने के लिए परमेश्वर के हवाले कर दो।+
17 इसलिए कि पापी शरीर की इच्छाएँ, पवित्र शक्ति के खिलाफ होती हैं और पवित्र शक्ति, शरीर के खिलाफ है। ये दोनों एक-दूसरे के विरोध में हैं इसलिए जो तुम करना चाहते हो वही तुम नहीं करते।+