जीएँ मसीहियों की तरह
मुसीबतों के दौरान यहोवा हमें थाम लेता है
इन आखिरी दिनों में हमें कई बार मुसीबतों के तूफान से गुज़रना पड़ता है। कभी-कभी तो हम पर ऐसी मुसीबतें टूट पड़ती हैं कि हमें लगता है, ‘ये हमसे बरदाश्त नहीं हो पाएगा।’ लेकिन अगर हम यहोवा के करीब आते रहें, तो हम हर मुसीबत का सामना कर पाएँगे, ऐसी मुसीबतों का भी जिनमें हम अंदर से पूरी तरह टूटकर रह जाते हैं। (यश 43:2, 4) मुसीबतों के दौरान हम यहोवा के करीब कैसे आ सकते हैं?
प्रार्थना: जब हम यहोवा के सामने अपना दिल खोलकर रख देते हैं, तो वह हमें मन की शांति देता है और मुश्किलों का सामना करने की हिम्मत भी देता है।—फिल 4:6, 7; 1थि 5:17.
सभाएँ: इस दौरान हमें पहले से कहीं ज़्यादा सभाओं में जाने की ज़रूरत होती है। सभाओं के ज़रिए यहोवा हमें सिखाता है और भाई-बहनों से संगति करने का मौका देता है। (इब्र 10:24, 25) जब हम सभाओं की तैयारी करते हैं, उनमें हाज़िर होते हैं और हिस्सा लेते हैं, तो एक तरह से हम यहोवा की पवित्र शक्ति की मदद ले रहे होते हैं।—प्रक 2:29.
प्रचार सेवा: अगर हम प्रचार सेवा में लगे रहने की पूरी कोशिश करें, तो हम अच्छी बातों पर ध्यान लगा पाएँगे। यही नहीं, यहोवा और भाई-बहनों के साथ हमारा रिश्ता भी मज़बूत होगा।—1कुर 3:5-10.
यहोवा आपको अपना लेगा वीडियो देखिए। फिर आगे दिए सवालों के जवाब दीजिए: