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  • दुनिया में इतनी नफरत क्यों?
  • प्रहरीदुर्ग यहोवा के राज्य की घोषणा करता है (जनता के लिए)—2022
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दुनिया में इतनी नफरत क्यों?

आज दुनिया में इतनी नफरत क्यों है? जवाब जानने के लिए आइए पहले देखें कि नफरत क्या होती है? लोग क्यों एक-दूसरे से नफरत करते हैं? और यह कैसे फैलती है?

नफरत क्या होती है?

जब कोई किसी को बिलकुल पसंद नहीं करता तो वह उससे नफरत करने लगता है और कई बार यह नफरत दुश्‍मनी में बदल जाती है। नफरत एक इंसान के मन से इतनी जल्दी नहीं निकलती।

लोग क्यों नफरत करने लगते हैं?

लोग कई कारणों से दूसरी जाति, भाषा या संस्कृति के लोगों से नफरत करते हैं। ज़रूरी नहीं कि उन्होंने कुछ बुरा किया हो। कई बार वे बस इसलिए नफरत करते हैं कि वे लोग दूसरी जाति या भाषा के हैं। उन्हें लगता है कि ये जो दूसरी जाति के लोग हैं, वे बुरे हैं, उनसे नुकसान हो सकता है और वे जैसे हैं वैसे ही रहेंगे, कभी नहीं सुधरेंगे। वे उन्हें नीचा देखते हैं और सोचते हैं कि वे ही सारी समस्याओं की जड़ हैं। या फिर हो सकता है, दूसरी जाति या भाषा के लोगों ने उनके साथ अन्याय किया हो या उन्हें मारा-पीटा हो, इसीलिए वे उनसे नफरत करने लगे हैं।

नफरत कैसे फैलती है?

यह भी हो सकता है कि एक इंसान किसी दूसरी जाति या भाषा के लोगों से कभी न मिला हो, फिर भी उनसे नफरत करता हो। शायद उसके दोस्त या परिवारवाले दूसरों से नफरत करते हों, इसलिए वह भी नफरत करने लगा हो। इस तरह धीरे-धीरे पूरे समाज में नफरत फैल जाती है।

यही वजह है कि दुनिया में इतने सारे लोग एक-दूसरे से नफरत करते हैं। पर नफरत का यह सिलसिला या चक्र तोड़ने के लिए हमें इसके असली कारण जानने होंगे। यह हम ईश्‍वर की किताब बाइबल से जान सकते हैं।

पवित्र शास्त्र से जानें नफरत के असली कारण

एक चित्र में दो तीर दिखाए गए हैं जो एक-दूसरे की तरफ घूम रहे हैं। तीरों का मतलब नफरत के कारण हैं। 1. गलत जानकारी: दूसरों की देखा-देखी, सोशल मीडिया से और खबरों से। 2. अनजान दूसरों की संस्कृति से, दूसरी भाषा, देश या रंग के लोगों से या दूसरे धर्मों से। 3. डर कि दूसरे लोग उनके तौर-तरीके बदल देंगे, उनका नुकसान कर देंगे और आगे जाकर पता नहीं क्या करेंगे। 4. नफरत की वजह से लोग भेदभाव करते हैं, बुरा व्यवहार करते हैं और हिंसा करते हैं।

नफरत की शुरूआत इंसानों से नहीं, शैतान से हुई। हज़ारों साल पहले स्वर्ग में ईश्‍वर का एक दूत उसके खिलाफ हो गया। उसे शैतान कहा जाता है। शास्त्र में लिखा है कि “वह शुरू से ही हत्यारा है” और “झूठा” है। झूठ उसी से शुरू हुआ। (यूहन्‍ना 8:44a) जब से दुनिया बनी, तब से वह लोगों को एक-दूसरे के खिलाफ भड़काता आया है। (1 यूहन्‍ना 3:11, 12) शैतान में नफरत, गुस्सा और बुराई कूट-कूटकर भरी है।​—अय्यूब 2:7; प्रकाशितवाक्य 12:9, 12, 17.

नफरत करना इंसान के स्वभाव में आ गया। दुनिया के पहले इंसान आदम ने भी शैतान की तरह ईश्‍वर की बात नहीं मानी। सभी इंसान आदम से निकले हैं, इसलिए उनका स्वभाव ही कुछ इस तरह बन गया कि वे सही करने के बजाय हमेशा गलत करने की सोचते हैं। (रोमियों 5:12) आदम का पहला बेटा कैन अपने भाई हाबिल से इतनी नफरत करता था कि उसने उसका खून कर दिया। (1 यूहन्‍ना 3:12) वैसे तो आज भी ऐसे कई लोग हैं जो दूसरों से प्यार करते हैं और उनकी मदद करते हैं। लेकिन ज़्यादातर लोग स्वार्थ, जलन और घमंड की वजह से दूसरों से नफरत करते हैं।​—2 तीमुथियुस 3:1-5.

छोटी सोच से नफरत बढ़ती है। आजकल कोई किसी के बारे में नहीं सोचता, कोई किसी पर दया नहीं करता, किसी को दूसरे की तकलीफ देखकर तकलीफ नहीं होती। शास्त्र में लिखा है कि “सारी दुनिया शैतान के कब्ज़े में पड़ी हुई है।” (1 यूहन्‍ना 5:19) इसलिए हर कहीं लोग भेदभाव करते हैं, छोटी सोच रखते हैं, गाली देते हैं और गुंडागर्दी करते हैं।

बाइबल में यह भी लिखा है कि हम अपने मन से नफरत कैसे निकाल सकते हैं। और जानने के लिए अगला लेख पढ़ें।

a यह पवित्र शास्त्र बाइबल का एक वचन है। इस अंक में बाइबल की और भी बातें बतायी गयी हैं।

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