परमेश्वर के शांति के राज्य में दिलचस्पी विकसित कीजिए
१ फरवरी महीने के दौरान, हम आप पृथ्वी पर परादीस में सर्वदा जीवित रह सकते हैं किताब प्रस्तुत करेंगे। हमारा लक्ष्य होना चाहिए कि सत्हृदय लोगों को परमेश्वर के राज्य और वह क्या निष्पन्न करेगा इसके लिए मूल्यांकन विकसित करने में मदद करें। इस उद्देश्य के लिए दृष्टिकोण प्रश्न हमें सहायता दे सकते हैं।
२ एक दोस्ताना अभिवादन के बाद, हम ऐसा कुछ कह सकते हैं:
▪“सारी पृथ्वी में सरकार में आश्चर्यजनक परिवर्तन हो रहे हैं, और शांति के लक्ष्य का अकसर उल्लेख किया जाता है। क्या आपको लगता है कि सच्ची शांति कभी प्राप्त की जाएगी? [टिप्पणी के लिए रुकिए.] यद्यपि अनेक लोग शांति लाने के लिए मानव शासकों की ओर आशावान् होकर देखते हैं, ध्यान दीजिए कि परमेश्वर कैसे शांति लाने की प्रतिज्ञा करता है जैसे भजन ४६:९ में उल्लिखित है। [पढ़िए.] आप क्या सोचते हैं कि परमेश्वर का कार्य पृथ्वी पर कौनसे परिवर्तन लाएगा? [गृहस्वामी की प्रतिक्रिया को सुनिए, और फिर शांतिपूर्ण नए संसार में जीवन ट्रैक्ट दिखाइए।] यहाँ चित्रित की गई बात की क्या आप कल्पना कर सकते हैं?” उपशीर्षक “परमेश्वर के नए संसार में जीवन” के नीचे दी गयी जानकारी पर विचार कीजिए। यदि स्थिति अनुमति दे, तो रीज़निंग किताब के पृष्ठ २२७-३२ से, “परमेश्वर का राज्य क्या निष्पन्न करेगा?” प्रश्न के अधीन, अधिक जानकारी पर विचार किया जा सकता है। या गृहस्वामी का ध्यान अध्याय १३ की ओर आकर्षित करते हुए, हम सीधे सर्वदा जीवित रहना किताब प्रस्तुत कर सकते हैं। हम यह पूछकर चर्चा को समाप्त कर सकते हैं: “क्या आपको लगता है कि परमेश्वर द्वारा एक सरकार इन परिवर्तनों को ले आएगी?” यदि गृहस्वामी दिलचस्पी दिखाता है, एक पुनःभेंट के लिए प्रबंध किए जाने चाहिए।
३ या हम कह सकते हैं:
▪“परेशान करनेवाली समस्याओं के बारे में काफ़ी चिन्ता प्रकट की जाती है जिनका सामना प्रतिदिन हम सभी को करना पड़ता है। क्या आपको लगता है कि इन समस्याओं से राहत की कोई आशा है? [टिप्पणी के लिए रुकिए.] कुछ शायद महसूस करें कि परमेश्वर हमारी दुर्दशा के प्रति उदासीन है। यद्यपि, ध्यान दीजिए कि वह प्रकाशितवाक्य २१:३, ४ में क्या प्रतिज्ञा करता है।” आयतें पढ़िए। इस मोड़ पर सर्वदा जीवित रहना किताब या क्या यह संसार बचेगा? ट्रैक्ट प्रस्तुत किया जा सकता है। यदि ट्रैक्ट प्रस्तुत किया गया है, पृष्ठ २ और ३ पर उपशीर्षक “इस संसार का भविष्य” के नीचे दिए गए विषय पर विचार किया जा सकता है। यदि संभव हो, तो यह सवाल उठाने के बाद कि “परमेश्वर ने दुष्टता को क्यों अनुमति दी है?” शायद तुरंत सर्वदा जीवित रहना किताब प्रस्तुत की जा सकती है: किताब में अध्याय ११ दिखाइए, और अगली भेंट पर इसकी चर्चा करने का प्रबंध कीजिए।
४ यदि गृहस्वामी बहुत व्यस्त है तो आप संक्षिप्त रूप से किसी चुने हुए लेख से एक विशिष्ट मुद्दे पर टिप्पणी करने के द्वारा सामयिक पत्रिकाओं में से किसी एक को प्रस्तुत करना चुन सकते हैं।
आप शायद यह कहने के द्वारा पत्रिका की प्रस्तावना दे सकते हैं:
▪“यह लेख इस विषय पर ज़्यादा विवरण देता है। [पहले से ही चुने हुए एक या दो वाक्य पढ़िए।] यह लेख अतिरिक्त विचार देता है जो आप और आपके परिवार के लिए प्रोत्साहक साबित होंगे। ऐसा लगता है कि आपको इस विषय में दिलचस्पी है, इसलिए हम इस अंक को और इसकी सह पत्रिका दोनों को ६ रुपए के चंदे पर आपके पास छोड़ने में ख़ुश होंगे।”
५ आज लोग अकसर उलझन में पड़ जाते हैं जब मानवजाति के सम्मुख समस्याओं के जवाबों के लिए किस ओर मुड़ने के ज्ञान की बात आती है। हमें भविष्य के लिए एक स्पष्ट आशा को उनके साथ बाँटने का विशेषाधिकार है। (प्रेरितों १७:२७) इसलिए, ऐसा हो कि हम परिश्रमपूर्वक लोगों का ध्यान, शांति के सच्चे स्रोत, परमेश्वर के राज्य की ओर आकर्षित करें।